जालौन। यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि बुंदेलखंड एक्सप्रेसवे पर सवार होकर बुंदेलखंड क्षेत्र का विकास फर्राटा भरेगा। यह एक्सप्रेसवे इस बात का प्रमाण भी है कि सरकार की नेक, नीति एवं नीयत अच्छी हो। उसमें काम के प्रति मजबूत इच्छाशक्ति और जज्बे का संगम हो तो विकास कार्य बहुत तेजी से आगे बढ़ाए जा सकते हैं। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ मंगलवार को जालौन के लाडपुर दिवार में निमार्णाधीन बुंदेलखंड एक्सप्रेसवे के किमी 235-695 पर स्थित यमुना नदी पर बन रहे पुल का स्थलीय निरीक्षण व पैकेज पांच के तहत हुए कार्यों की प्रगति की समीक्षा कर रहे थे। इस दौरान उन्होंने कहा कि एक्सप्रेसवे के निर्माण से बुंदेलखंड पर्यटन का एक बड़ा केंद्र भी बनेगा। एक्सप्रेस वे पर विकास फर्राटा भी भरेगा।
(यूपीडा)अधिकारियों से कहा कि, “बुंदेलखंड एक्सप्रेसवे का लगभग 50 फीसदी काम पूरा हो चुका है, हमारा लक्ष्य इस एक्सप्रेसवे का कार्य नवम्बर तक पूरा कर लेने का है। निर्माण की गुणवत्ता में कोई कोताही नहीं होनी चाहिए। बुंदेलखंड के किसानों ने एक्सप्रेसवे के लिए अपनी जमीन देने के साथ ही हर स्तर पर पूरा सहयोग किया, इसके लिए वे बधाई और धन्यवाद के पात्र हैं। बुंदेलखंड एक्सप्रेसवे सम्पूर्ण बंदेलखंड क्षेत्र के लिए विकास का मार्ग प्रशस्त करेगा।”
मुख्यमंत्री ने यूपीडा के अधिकारियों व उनकी टीम की इस बात के लिए सराहना की कि यूपीडा द्वारा रिकॉर्ड एक वर्ष में बुंदेलखंड एक्सप्रेसवे की 120 किमी सड़क का निर्माण कार्य पूरा किया जा चुका है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि, “बुंदेलखंड के समग्र विकास को लेकर सरकार बेहद गंभीर है। एक्सप्रेसवे और अन्य विकास परियोजनाओं के साथ ही पंचनद योजना के माध्यम से सिंचाई के लिए पर्याप्त जल की व्यवस्था भी की जा रही है। बुन्देलखंड एक्सप्रेसवे परियोजना में पड़ने वाली यमुना, बेतवा और केन नदी पर पुलों का भी तीव्र गति से निर्माण चल रहा है।”
मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को निर्देशित किया कि बुंदेलखंड एक्सप्रेसवे के तहत आने वाले सभी जिलों में इंडस्ट्रियल क्लस्टर के विकास का कार्य भी पूरी तत्परता से किया जाए।
बुंदेलखंड एक्सप्रेसवे के यमुना नदी पर बन रहे पुल का निर्माण सबसे कम समय (6-8 महीने) में पूरा करके यूपीडा देश में रिकार्ड भी स्थापित करेगा। बता दें कि बुंदेलखंड एक्सप्रेसवे परियोजना की कुल लम्बाई 296 किमी है तथा वर्तमान में इस परियोजना की कुल भौतिक प्रगति लगभग 50 प्रतिशत पूर्ण कर ली गई है।
इस एक्सप्रेसवे का निर्माण कार्य युद्ध स्तर पर हो रहा है और सभी फ्लाईओवर पर तीव्रता से कार्य कराया जा रहा है। एक्सप्रेसवे में अब तक क्लीयरिंग एण्ड ग्रबिंग का कार्य 97 प्रतिशत और मिट्टी का कार्य 82 प्रतिशत से अधिक पूर्ण कर लिया गया है। कुल 818 में से 497 स्ट्रक्च र्स यानि आधे से अधिक का कार्य भी पूरा किया जा चुका है। एक्सप्रेसवे पर 4 रेलवे ओवर ब्रिज, 14 दीर्घ सेतु, 6 टोल प्लाजा, 7 रैम्प प्लाजा, 268 लघु सेतु, 18 फ्लाई ओवर तथा 214 अण्डरपास का निर्माण कराया जायेगा।
बुंदेलखंड एक्सप्रेसवे चार लेन चौड़ा है, जिसे छह लेन में विस्तारित किया जा सकेगा। इसके लिए संरचनाएं छह लेन चौड़ाई की बनायी जा रही हैं। एक्सप्रेसवे के एक ओर 3.75 मीटर चौड़ाई की सर्विस रोड भी बनाई जा रही है, जिससे परियोजना के आस-पास के गांव के निवासियों को एक्सप्रेसवे पर सुगम आवागमन की सुविधा उपलब्ध हो सके।
बुंदेलखंड एक्सप्रेसवे प्रदेश के बुंदेलखंड क्षेत्र को देश की राजधानी दिल्ली से आगरा-लखनऊ एक्सप्रेसवे एवं यमुना एक्सप्रेसवे के माध्यम से जोड़ेगा। यह स्थिति इस क्षेत्र के विकास में महत्वपूर्ण भूमिका निभाने वाली होगी। एक्सप्रेसवे झांसी-इलाहाबाद राष्ट्रीय मार्ग संख्या-35 भरतकूप के पास जनपद चित्रकूट से प्रारम्भ होकर आगरा-लखनऊ एक्सप्रेसवे पर ग्राम कुदरैल के पास इटावा में समाप्त होगा। इस परियोजना से जनपद चित्रकूट, बांदा, महोबा, हमीरपुर, जालौन एवं इटावा लाभान्वित होंगे। बुंदेलखंड एक्सप्रेसवे परियोजना की कुल अनुमानित लागत रु. 14849.09 करोड़ एवं सिविल निर्माण की अनुबन्धित लागत रु. 7766.81 करोड़ है। निर्माण हेतु बुंदेलखंड एक्सप्रेसवे को कुल 6 पैकेजों में विभक्त किया गया है।