नई दिल्ली: प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) को बुधवार को एनएसई फोन टैपिंग मामले में मुंबई के पूर्व पुलिस आयुक्त संजय पांडे की नौ दिनों की हिरासत की अनुमति मिल गई।
2009 और 2017 के बीच नेशनल स्टॉक एक्सचेंज (एनएसई) के कर्मचारियों के फोन टैपिंग से संबंधित धन शोधन निवारण अधिनियम (पीएमएलए) के तहत एक मामले के संबंध में ईडी ने राष्ट्रीय राजधानी की एक अदालत के समक्ष हिरासत की मांग की थी। आरोप लगाए गए हैं कि एनएसई की पूर्व सीईओ और एमडी चित्रा रामकृष्ण के निर्देश पर फोन टैपिंग की गई थी।
मंगलवार को गिरफ्तार किए गए पांडे को यहां राउज एवेन्यू कोर्ट में पेश किया गया।
अदालत में प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने तर्क दिया है कि पांडे को रामकृष्ण की मदद के लिए कॉल टैप करने के लिए 4.54 करोड़ रुपये मिले थे।
ईडी ने तर्क दिया, “पांडे ने इसमें आईसेक सिक्योरिटीज प्राइवेट लिमिटेड को शामिल किया। हालांकि वह फर्म में निदेशक नहीं थे, मगर वह हर बैठक की अध्यक्षता करते थे। हमारे पास इस संबंध में सबूत हैं। वह पर्दे के पीछे से पूरी फर्म को नियंत्रित कर रहे थे।”
पांडे ने अपने बचाव में कहा कि पूरा मामला कुछ और नहीं बल्कि ‘राजनीति से प्रेरित’ है। उन्होंने कहा कि जब वह सेवा में थे, तो वह ‘कानून और व्यवस्था की स्थिति बनाए रखने के लिए फिट थे, जबकि अब उनके खिलाफ दो प्राथमिकी दर्ज की गई हैं’।
उन्होंने तर्क दिया, “कॉल का विश्लेषण और निगरानी करने के लिए, हमने फोन टैप किए। फोन लाइनों को टैप करने के लिए, सभी मशीनें एनएसई द्वारा उपलब्ध कराई गईं। मैंने कभी भी किसी मशीन का अवैध रूप से उपयोग नहीं किया।”