चेन्नई, | भारत ने एमए चिदंबरम स्टेडियम में मंगलवार को यहां खेले गए दूसरे टेस्ट मैच में इंग्लैंड 317 रनों से हराया। यह टेस्ट मैचों में रनों के लिहाज से भारत की इंग्लैंड पर अब तक की सबसे बड़ी और अपने टेस्ट इतिहास की पांचवीं सबसे बड़ी जीत है। साथ ही यह इंग्लैंड की एशिया में अब अब तक की सबसे बड़ी हार है। इससे पहले भी इंग्लिश टीम को भारत के हाथों ही सबसे बड़ी हार मिली थी।
भारत ने इंग्लैंड को दूसरे टेस्ट में रनों से हार का सामना करना पड़ा।
एशिया से बाहर की बात करें तो इससे पहले टीम इंडिया ने इंग्लैंड के खिलाफ लीड्स में 1986 में खेले गए टेस्ट में 279 रनों से जीत हासिल की थी जो उसकी इंग्लिश टीम के खिलाफ सबसे बड़ी जीत थी।
इंग्लैंड की रनों के हिसाब से यह एशिया में सबसे बड़ी हार है। उसे भारत के खिलाफ 2016-17 में विशाखापत्तनम में खेले गए मुकाबले में 246 रनों से हार का सामना करना पड़ा था।
भारत ने इंग्लैंड को इस मुकाबले में हराकर अपने टेस्ट इतिहास की पांचवीं सबसे बड़ी टेस्ट जीत हासिल की। इससे पहले भारत ने दक्षिण अफ्रीका को 2015-16 में दिल्ली में खेले गए टेस्ट मुकाबले में 337 रनों से हराया था जो रनों के लिहाज से टेस्ट इतिहास की उसकी सबसे बड़ी जीत है।
इसके अलावा 2016-17 में न्यूजीलैंड के खिलाफ इंदौर में टीम इंडिया को 321 रनों से जीत मिली थी जो उसकी दूसरी सबसे बड़ी जीत है।
भारत के टेस्ट इतिहास की छह बड़ी जीत में से पांच जीत विराट कोहली की कप्तानी में टीम इंडिया को मिली है। भारत में खेले गए आठ टेस्टों में ऐसा पहली बार है जब इंग्लैंड के कप्तान जोए रूट किसी भी पारी में अर्धशतक नहीं बना पाए हैं।
रूट ने पहले टेस्ट में दोहरा शतक जड़ा था लेकिन वह इस मैच में कुछ खास प्रदर्शन नहीं कर सके।