वर्चुअल संवाद में बोले पीएम: गरीब के नाम पर सियासत नहीं करते हम

वर्चुअल संवाद में बोले पीएम: गरीब के नाम पर सियासत नहीं करते हम

लखनऊ। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि हम गरीबों के नाम पर राजनीति नहीं करते। यह हमारे लिए राजनीति का विषय नहीं हैं। हम इनकी सेवा, इनके उत्थान, इनके आत्मसम्मान की रक्षा के लिए संकल्पित हैं। प्रधानमंत्री मोदी मंगलवार को पीएम स्ट्रीट वेंडर्स आत्मनिर्भर निधि योजना के तहत आयोजित कार्यक्रम में उत्तर प्रदेश के रेहड़ी-पटरी व्यवसायियों से वर्चुअल संवाद कर रहे थे। उन्होंने कहा कि वर्तमान सरकार की नीतियों के केंद्र में यही कमजोर वर्ग है। कोरोना का संकट काल हो या इसके पूर्व की स्थिति, हमने सतत सेवाभाव से ‘अंत्योदय’ के लक्ष्य को पाने के लिए कोशिश की है। प्रधानमंत्री ने कहा कि केंद्र व राज्य सरकार गरीब के जीवन और कारोबार को बेहतर बनाने में कोई कोर-कसर नहीं छोड़ेगी। क्योंकि हम गरीब के नाम पर राजनीति नहीं करते हैं।

प्रधानमंत्री ने कहा कि गरीबों की खुशी मुझे संतोष देती है। इससे हमें और काम करने की प्रेरणा मिलती है। आपका आत्मविश्वास, कारोबार और परिवार को लेकर चिंता, प्रबंधन, नियोजन और तकनीक के प्रति प्रेम काबिले तारीफ है। यह औरों के लिए भी सीख है। आपकी यही सकारात्मक सोच हमारी ताकत है। ऐसे ही प्रयासों से देश आगे बढ़ता है और आत्म निर्भर भारत का सपना साकार होता है।

प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि वैश्विक महामारी कोरोना की शुरूआत में कई लोगों ने इससे निपटने में भारत की क्षमता पर आशंका जताई। इस दौरान सरकार ने अपनी सभी योजनाओं के केंद्र में लॉकडाउन से सर्वाधिक प्रभावित गरीबों को ही रखा। कोरोना में जब जीवन तकरीबन ठहर गया था उस दौरान इन योजनाओं के प्रगति की गति काबिले तारीफ रही। आजादी के बाद पहली बार लोगों ने ऐसा होते हुए देखा। पूरा देश अपनी पूरी ताकत और संसाधनों के साथ गरीबों के साथ खड़ा रहा। इस दौरान आपके श्रम को सम्मान और आपके काम को पहचान भी मिली।

मोदी ने कहा कि सरकार का पूरा प्रयास रहा है कि योजनाओं का लाभ पाने में गरीब को कोई दिक्कत न हो। पारदर्शिता और तेजी के लिए अधिकतम तकनीक का प्रयोग हो। ऐसा हुआ भी। इसमें जनधन खातों की बड़ी भूमिका रही। यह वही खाते हैं जिनके खुलने पर कुछ लोगों को बड़ी पीड़ा हुई थी। यह वही लोग हैं जो खुद तो आकंठ भ्रष्टाचार में डूबे हैं। गरीबों के नाम पर राजनीति करते हैं, पर बेईमानी का सारा ठीकरा गरीबों पर ही फोड़ देते हैं। पर इस योजना से लाभ पाने के बाद ऋण चुकाना शुरू कर गरीबों ने ऐसी सोच वालों को बताया कि गरीब ईमानदार होता है। वह स्वाभिमान से कभी समझौता नहीं करता।

स्ट्रीट वेंडर्स से संवाद करते हुए प्रधानमंत्री ने कहा कि आप लोग विषम हालातों में कोरोना से जिस तरह लड़े उसकी जितनी भी तारीफ की जाए कम है। यकीनन शीघ्र ही कोराना हारेगा, पर पर्व त्यौहारों के इस मौसम में कहीं से कतई कोई लापरवाही न करें। दो गज दूरी और मास्क जरूरी के मूल मंत्र को खुद याद रखें और लोगों को भी याद दिलाते रहें।

प्रधानमंत्री मोदी ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ और उनकी पूरी टीम की तारीफ की। उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश ने केंद्र सरकार की योजनाओं से पात्रों को लाभान्वित करने में सर्वोत्तम प्रयास किया है। पटरी कारोबारियों को ऋण देने के मामले में भी नंबर वन रहा। देश में अब तक इस योजना के तहत हुए 25 लाख पंजीकरण में से करीब 7 लाख पंजीकरण सिर्फ उप्र से हुए हैं। यही नहीं, ऋण लेने में लगने वाले स्टैंप ड्यूटी को भी सरकार ने माफ कर दिया है। कोराना के असाधारण संकट के दौरान हर जरूरतमंद को भरण-पोषण भत्ता, राहत, हर पात्र को अग्रिम पेंशन देकर गरीबों की चिंता कर उप्र सरकार ने सराहनीय काम किया है।

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि हर पटरी व्यवसाई जो ऋण के लिए आवेदन देगा उनको इस योजना से संतृप्त किया जाएगा। अब तक करीब 7 लाख लोगों ने पंजीकरण कराया है। 6.53 लाख लोगों ने ऋण के लिए आवेदन किए हैं। इनमें से करीब पौने चार लाख लोगों को ऋण मंजूर किया जा चुका है। करीब 2.74 लाख लाख लोगों को ऋण मिल भी चुका है।

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