अयोध्या: संत-धर्माचार्यों ने की अपील, घर पर ही मनाएं रामनवमी का उत्सव

अयोध्या: संत-धर्माचार्यों ने की अपील, घर पर ही मनाएं रामनवमी का उत्सव

अयोध्या। रामजन्मभूमि के मुख्य आचार्य सत्येंद्र दास ने कहा कि इस समय हमें स्वयं को घर में बंद रखने की आवश्यकता है। कोरोना वायरस अभी तक हमारे द्वारा जीता नहीं जा सका है। उसके निराकरण का उपाय नहीं मिल पा रहा है। जब तक कोरोना के शमन का मार्ग प्रशस्त नहीं हो जाता तब तक मास्क, सामाजिक दूरी का पालन करना अति आवश्यक है।

कोरोना के बढ़ते संक्रमण ने हर किसी को चिंतित कर दिया है। संक्रमण के दौरान ही रामनगरी अयोध्या में श्रीराम जन्मोत्सव का पावन पर्व संचालित है। रामजन्मोत्सव का मुख्य पर्व 21 अप्रैल को धूमधाम से मनाया जाएगा।

रामजन्मोत्सव के अवसर पर अयोध्या में 15 से 20 लाख श्रद्धालुओं की भीड़ उमड़ती है लेकिन इस वर्ष बेकाबू कोरोना ने रामनवमी के उल्लास में ग्रहण लगा दिया है। कोरोना के बढ़ते संक्रमण के चलते रामनवमी में भीड़ पर रोक लगा दी गई है तो वहीं रामनगरी के संत-धर्माचार्यों ने भी भक्तों से अपील की है कि वे घरों पर रहकर ही पूजा-अर्चना करें। संतों ने कहा है कि भक्त नवरात्र में मंदिरों में न जाकर घरों में ही माता की उपासना करें।

मास्क लगाएं, करें सामाजिक दूरी का पालन: सत्येंद्र दास 
रामजन्मभूमि के मुख्य आचार्य सत्येंद्र दास ने कहा कि इस समय हमें स्वयं को घर में बंद रखने की आवश्यकता है। कोरोना वायरस अभी तक हमारे द्वारा जीता नहीं जा सका है। उसके निराकरण का उपाय नहीं मिल पा रहा है। जब तक कोरोना के शमन का मार्ग प्रशस्त नहीं हो जाता तब तक मास्क, सामाजिक दूरी का पालन करना अति आवश्यक है, यही एक मात्र रास्ता है जिससे कोरोनो को मात दी जा सकती है।

घर में पूजा के साथ रोजाना करें हवन : रामदास
नाका हनुमानगढ़ी के महंत रामदास ने भक्तों से अपील की है कि वे मंदिरों में भीड़ न लगाएं। घर पर ही रहकर पूज-अर्चना करें। साथ ही साथ रोजाना हवन करें। इससे वातावरण शुद्ध होगा और विषाणुओं को दूर करने में मदद मिलेगी। मास्क लगाकर, सामाजिक दूरी अपनाकर संक्रमण को फैलने से रोका जा सकता है। हमें भक्ति के मार्ग के साथ-साथ कोरोन प्रोटोकॉल का भी पालन करना होगा।

समाज पर भारी पड़ सकती है लापरवाही : भरत दास
उदासीन आश्रम रानोपाली के महंत डॉ. भरत दास का कहना है कि कोरोना संक्रमण की रफ्तार बेहद चिंताजनक है। ऐसे में पूजा-अर्चना के लिए घर से बाहर निकलने की जरूरत नहीं है। जरा सी लापरवाही पूरे समाज पर भारी पड़ सकती है। घर में भी विधि-विधान से पूजा-अर्चना की जाए तो वह फलदाई होती है। धर्म-कर्म के साथ-साथ सामाजिक समस्या की चिंता भी जरूरी है, इसलिए घर पर ही रहक पूजा-अर्चना करें।

मंदिरों में अनावश्यक भीड़ न लगाएं : वैदेही वल्लभ
बावन मंदिर के महंत वैदेही बल्लभ शरण का कहना है कि वैश्विक महामारी से लड़ने में हम सभी को अपनी भूमिका अदा करनी होगी। नवरात्र व राम जन्मोत्सव का पर्व घर पर ही रहकर मनाएं। मंदिरों में अनावश्यक रूप से भीड़ एकत्रित करना समाज के लिए नुकसानदायक हो सकता है। हम सभी की जिम्मेदारी है कि कोरोना वायरस के प्रसार को फैलने से अपने स्तर से रोकने का उपक्रम करते रहें।

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